जन्म से दृष्टिहीन 11 वर्ष की अबोध बालिका के साथ दुष्कर्म करने वाले 70 वर्षीय आरोपी को 20 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 6000 रूपये का अर्थदण्ड

इंडिया टीवी एमपी तक न्यूज़ – आष्टा। माननीय न्यायालय सुरेश कुमार चौबे विशेष न्यायाधीश (पॉक्सो एक्ट तहसील आष्टा, जिला सीहोर के द्वारा अभियुक्त घासीराम पिता सिद्धनाथ उम्र 70 वर्ष निवासी मानाखेड़ी को 20 वर्ष का काठोर कारावास एवं 6000 रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया एवं पीडिता को प्रतिकर के रूप में 1 लाख रूपयें दिये जाने का आदेश दिया गया। 1 नवंबर 2021 को पीडिता करीबन दोपहर 3-4 बजे फरियादिया की लडकी पीडिता अपनी दादी के घर जा रही थी तो उसके पडोसी अभियुक्त घासीराम मालवीय ने उसकी लडकी को आवाज देकर बुलाया तो पीडिता आरोपी के पडोसी होने से घासीराम के पास चली गई और घासीराम मालवीय ने उसकी लडकी को चीज खाने के लिये पांच रूपयें दिये और पीडिता को पकड कर अपने घर के अन्दर कमरे में ले गया और जमीन पर लिटा कर उसकी लडकी के साथ बुरा काम बलात्कार किया। पीडिता ने चिल्लाने की कोशिश की तो आरोपी घासीराम मालवीय ने हाथ से उसका मुंह दबा दिया और बोला कि यह बात किसी को बताई तो जान से खत्म कर दूंगा। पीडिता ने डर के कारण उक्त घटना की बात किसी को नहीं बताई। दिनांक 03.12.2021 को पीडिता का स्वास्थ्य सही न होने से फरियादिया के पूछने पर पूरी घटना फरियादिया को बताई। पीडिता जन्म से दोनों आखों से देख नहीं पाती है तथा वह गांव वालों कों आवाज से पहचान लेती है। फरियादिया ने उक्त घटना की सूचना थाना आष्टा में दी जिस पर से थाना आष्टा में अपराध पंजीबद्ध कर प्रकरण विवेचना में लिया गया जिसकी विवेचना उनि. अविनीश मौर्य द्वारा की गई एवं सम्पूर्ण विवेचना उपरांत अभियोग-पत्र माननीय न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया बालिका जन्म से दृष्टिहीन थी आरोपी को पहचानने में असमर्थ थी इस कारण न्यायालय में बालिका द्वारा आवाज से आरोपी की पहचान की गई थी।माननीय न्यायालय द्वारा अभियोजन द्वारा प्रस्तुत दस्तावेजी साक्ष्य एवं विधिक आधारों पर की गई अंतिम बहस के तर्कों से सहमत होते हुए आरोपी घासीराम पिता सिद्धनाथ को 5(एम)/6 पॉक्सों एक्ट में 20 वर्ष का सश्रम कारावास व 5000 रूपये अर्थदण्ड एवं धारा 506 (भाग-2) भादवि में 01 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 1000 रू अर्थदण्ड कुल 6000 रूपये से दण्डित किया गया एवं माननीय न्यायालय द्वारा पीडिता को प्रतिकर स्वरूप में 1 लाख रूपयें दिये जाने का आदेश दिया गया। शासन की ओर से पैरवी अति. जिला अभियोजन अधिकारी देवेन्द्र सिंह ठाकुर तह. आष्टा जिला-सीहोर के द्वारा की गई एवं महेन्द्र सितोले सहा. जिला अभियोजन अधिकारी तह. आष्टा के द्वारा पैरवी में सहयोग किया गया।